

माउंट आबू, प्रेस 15 न्यूज। 140 से अधिक देशों में भारतीय आध्यात्मिक परंपराओं को फैलाने और दुनिया भर में शांति और मानवीय मूल्यों को बढ़ावा देने वाले प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय की प्रमुख राजयोगिनी दादी रतनमोहिनी का मंगलवार को निधन हो गया। उन्होंने 101 वर्ष की आयु में गुजरात के अहमदाबाद में अंतिम सांस ली। बृहस्पतिवार को उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा।
राजस्थान के सिरोही जिले के आबूरोड स्थित प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय की प्रमुख तथा ब्रह्माकुमारीज संस्था की मुख्य प्रशासक राजयोगिनी दादी रतनमोहिनी का निधन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, राजस्थान के राज्यपाल हरिभाऊ बागड़े, सीएम भजनलाल शर्मा समेत देश और विदेश के गणमान्य जनों ने दुख प्रकट किया है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आध्यात्मिक संगठन ब्रह्माकुमारीज की प्रशासनिक प्रमुख को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि उन्हें प्रकाश, ज्ञान और करुणा की किरण के रूप में याद किया जाएगा।
ब्रह्माकुमारीज संस्था ने अपने सोशल मीडिया हैंडल पर जानकारी देते हुए लिखा है कि शांति, प्रेम और शक्ति की प्रतिमूर्ति आदरणीय राजयोगिनी दादी रतन मोहिनी जी ने अपनी पूर्णता की अवस्था प्राप्त कर 8 अप्रैल 2025 को 101 वर्ष की आयु में अपने नश्वर शरीर का परित्याग कर दिया। दादी जी वर्ष 2021 से ब्रह्माकुमारीज की प्रशासनिक प्रमुख थीं।
राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने कहा कि ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय की प्रमुख राजयोगिनी दादी रतनमोहिनी के देहावसान का समाचार सुनकर मन अत्यंत दुखी है।
उनका देवलोकगमन आध्यात्मिक जगत की अपूरणीय क्षति है। करुणामयी व्यक्तित्व से परिपूर्ण दादी जी ने पूरा जीवन त्याग, तपस्या और मानवता की सेवा के लिए समर्पित किया। उनका देवलोकगमन आध्यात्मिक जगत के लिए अपूरणीय क्षति है।
तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी ने राजयोगिनी दादी रतन मोहिनी के निधन पर गहरा दुख व्यक्त किया है। शोक संदेश में मुख्यमंत्री ने दादी जी के जीवन को अनुकरणीय बताते हुए कहा कि वह आध्यात्मिक शक्ति, पवित्रता और सार्वभौमिक भाईचारे की प्रतीक थीं।
उन्होंने 140 से अधिक देशों में भारतीय आध्यात्मिक परंपराओं को फैलाने और दुनिया भर में शांति और मानवीय मूल्यों को बढ़ावा देने में उनके अथक प्रयासों की सराहना की।



