
हल्द्वानी/रुद्रपुर, प्रेस 15 न्यूज। पंतनगर के टांडा जंगल में सड़क किनारे संदिग्ध हालात में मिले युवक भूपेंद्र सिंह की मौत का रहस्य अब भी बना हुआ है। चौंकाने वाली बात ये है कि हल्द्वानी के पंजाबी कॉलोनी स्थित होमस्टे संचालक ने बिना पुलिस को सूचना दिए भूपेंद्र के शव को जंगल में ठिकाने लगा दिया। पुलिस ने बीते रोज होम स्टे संचालक अमनदीप सिंह को पूछताछ के लिए भी बुलाया। फिलहाल जांच जारी है।
बता दें कि बीते 7 जुलाई की सुबह टांडा रेंज के डिमरी ब्लॉक क्षेत्र में वन विभाग की टीम को सड़क किनारे एक युवक का शव पड़ा हुआ मिला। तुरंत ही इसकी सूचना पंतनगर थाना पुलिस को दी गई। पुलिस मौके पर पहुंची और शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा।

प्रारंभिक जांच में मृतक के गले पर रस्सी के गहरे निशान पाए गए, जिससे पुलिस ने इसे संभावित हत्या मानते हुए जांच की दिशा उसी ओर मोड़ दी। इसी बीच देर रात सोशल मीडिया पर शव की तस्वीर वायरल हुई, जिसे देखकर एक महिला ने युवक की पहचान अपने भाई के रूप में की। मृतक की पहचान पिथौरागढ़ निवासी भूपेंद्र सिंह के रूप में हुई, जो हाल ही में दिल्ली से हल्द्वानी आया था।
क्या हुआ था 6 और 7 जुलाई को?
6 जुलाई की रात भूपेंद्र हल्द्वानी के पंजाबी मोहल्ले स्थित एक होमस्टे में रुका था।
सीसीटीवी और मोबाइल डाटा की जांच में सामने आया कि उसने वहीं आत्महत्या कर ली थी, लेकिन होमस्टे रजिस्टर में उसकी एंट्री तक नहीं की गई थी।
7 जुलाई की सुबह टांडा के डिमरी ब्लॉक में सड़क किनारे शव मिलने से सनसनी फैल गई थी।
मामले की जांच ऐसे खुली
शव पर गले में रस्सी के निशान देखकर पुलिस ने हत्या की आशंका जताई।
सोशल मीडिया पर शव की फोटो वायरल होने पर उसकी बहन ने पहचान की और पुलिस को पूरे घटनाक्रम की जानकारी दी।
मोबाइल कॉल डिटेल और लोकेशन की जांच के बाद पुलिस पहुंची होमस्टे तक, जहां सच्चाई सामने आई।
अब आगे क्या?
पुलिस ने होमस्टे संचालक अमनदीप सिंह के खिलाफ सबूत छुपाने और शव ठिकाने लगाने के आरोप में कानूनी कार्रवाई शुरू कर दी है।
साथ ही इस पूरे मामले से जुड़े अन्य पहलुओं की जांच भी जारी है, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि इसमें कोई और तो शामिल नहीं।

